✕
महाराष्ट्र माझा
ज्योतिष 2025
ज्योतिष
ग्रह-नक्षत्रे
वास्तुशास्त्र
फेंगशुई
राशिभविष्य
जन्मदिवस आणि ज्योतिष
श्रीराम शलाका
टॅरो भविष्य
चौघड़िया
मासिक जुळत आहे
आजचा वाढदिवस
लाईफस्टाईल
प्रणय
सखी
योग
लव्ह स्टेशन
मराठी साहित्य
मराठी कविता
धर्म संग्रह
आरोग्य
व्हिडिओ
डॉ.आंबेडकर
खाद्य संस्कृती
क्रिकेट
इतर खेळ
स्कोअरकार्ड
वेळापत्रक
आयसीसी रँकिंग
क्रीडा जग
वास्तुशास्त्र
फ़ोटो गैलरी
शिवजयंती
Marathi
हिन्दी
English
தமிழ்
తెలుగు
മലയാളം
ಕನ್ನಡ
ગુજરાતી
महाराष्ट्र माझा
ज्योतिष 2025
ज्योतिष
लाईफस्टाईल
धर्म संग्रह
आरोग्य
व्हिडिओ
डॉ.आंबेडकर
खाद्य संस्कृती
क्रिकेट
वास्तुशास्त्र
फ़ोटो गैलरी
शिवजयंती
Shiv Chalisa श्री शिव चालीसा- जय गिरिजा पति दीन दयाला
Webdunia
सोमवार, 31 ऑक्टोबर 2022 (06:14 IST)
Shiva Chalisa
।।दोहा।।
श्री गणेश गिरिजा सुवन, मंगल मूल सुजान।
कहत अयोध्यादास तुम, देहु अभय वरदान॥
जय गिरिजा पति दीन दयाला। सदा करत सन्तन प्रतिपाला॥
भाल चन्द्रमा सोहत नीके। कानन कुण्डल नागफनी के॥
अंग गौर शिर गंग बहाये। मुण्डमाल तन छार लगाये॥
वस्त्र खाल बाघम्बर सोहे। छवि को देख नाग मुनि मोहे॥
मैना मातु की ह्वै दुलारी। बाम अंग सोहत छवि न्यारी॥
कर त्रिशूल सोहत छवि भारी। करत सदा शत्रुन क्षयकारी॥
नन्दि गणेश सोहै तहँ कैसे। सागर मध्य कमल हैं जैसे॥
कार्तिक श्याम और गणराऊ। या छवि को कहि जात न काऊ॥
देवन जबहीं जाय पुकारा। तब ही दुख प्रभु आप निवारा॥
किया उपद्रव तारक भारी। देवन सब मिलि तुमहिं जुहारी॥
तुरत षडानन आप पठायउ। लवनिमेष महँ मारि गिरायउ॥
आप जलंधर असुर संहारा। सुयश तुम्हार विदित संसारा॥
त्रिपुरासुर सन युद्ध मचाई। सबहिं कृपा कर लीन बचाई॥
किया तपहिं भागीरथ भारी। पुरब प्रतिज्ञा तसु पुरारी॥
दानिन महं तुम सम कोउ नाहीं। सेवक स्तुति करत सदाहीं॥
वेद नाम महिमा तव गाई। अकथ अनादि भेद नहिं पाई॥
प्रगट उदधि मंथन में ज्वाला। जरे सुरासुर भये विहाला॥
कीन्ह दया तहँ करी सहाई। नीलकण्ठ तब नाम कहाई॥
पूजन रामचंद्र जब कीन्हा। जीत के लंक विभीषण दीन्हा॥
सहस कमल में हो रहे धारी। कीन्ह परीक्षा तबहिं पुरारी॥
एक कमल प्रभु राखेउ जोई। कमल नयन पूजन चहं सोई॥
कठिन भक्ति देखी प्रभु शंकर। भये प्रसन्न दिए इच्छित वर॥
जय जय जय अनंत अविनाशी। करत कृपा सब के घटवासी॥
दुष्ट सकल नित मोहि सतावै । भ्रमत रहे मोहि चैन न आवै॥
त्राहि त्राहि मैं नाथ पुकारो। यहि अवसर मोहि आन उबारो॥
लै त्रिशूल शत्रुन को मारो। संकट से मोहि आन उबारो॥
मातु पिता भ्राता सब कोई। संकट में पूछत नहिं कोई॥
स्वामी एक है आस तुम्हारी। आय हरहु अब संकट भारी॥
धन निर्धन को देत सदाहीं। जो कोई जांचे वो फल पाहीं॥
अस्तुति केहि विधि करौं तुम्हारी। क्षमहु नाथ अब चूक हमारी॥
शंकर हो संकट के नाशन। मंगल कारण विघ्न विनाशन॥
योगी यति मुनि ध्यान लगावैं। नारद शारद शीश नवावैं॥
नमो नमो जय नमो शिवाय। सुर ब्रह्मादिक पार न पाय॥
जो यह पाठ करे मन लाई। ता पार होत है शम्भु सहाई॥
ॠनिया जो कोई हो अधिकारी। पाठ करे सो पावन हारी॥
पुत्र हीन कर इच्छा कोई। निश्चय शिव प्रसाद तेहि होई॥
पण्डित त्रयोदशी को लावे। ध्यान पूर्वक होम करावे ॥
त्रयोदशी ब्रत करे हमेशा। तन नहीं ताके रहे कलेशा॥
धूप दीप नैवेद्य चढ़ावे। शंकर सम्मुख पाठ सुनावे॥
जन्म जन्म के पाप नसावे। अन्तवास शिवपुर में पावे॥
कहे अयोध्या आस तुम्हारी। जानि सकल दुःख हरहु हमारी॥
॥दोहा॥
नित्त नेम कर प्रातः ही, पाठ करौं चालीसा।
तुम मेरी मनोकामना, पूर्ण करो जगदीश॥
मगसर छठि हेमन्त ॠतु, संवत चौसठ जान।
अस्तुति चालीसा शिवहि, पूर्ण कीन कल्याण॥
वेबदुनिया वर वाचा
मराठी ज्योतिष
लाईफस्टाईल
बॉलीवूड
मराठी बातम्या
संबंधित माहिती
Best Tulsidas Dohe तुलसीदास दोहे
Ganesh Puja:बुधवारी पूजेनंतर हे काम न केल्यास गणपती होतील नाराज, मिळणार नाही पूजेचे पूर्ण फळ
Dev Uthani Ekadashi 2022 तुळसला अर्पित करा एकमेव वस्तू, भराभराटी येईल
Surya Dev Mantra: सूर्याच्या 7 शक्तिशाली मंत्र जपल्याने सर्व इच्छा पूर्ण होतात, रविवारी कोणत्याही एका मंत्राचा जप करा
Kartik Purnima कार्तिक पौर्णिमेच्या दिवशी घडल्या या 7 घटना, म्हणूनच साजरी केली जाते देव दिवाळी
सर्व पहा
नवीन
आरती सोमवारची
सोमवारी या उपयांनी मिळेल तन, मन आणि धनाचे सुख
रविवारची आरती.... जयदेव जयदेव जय (श्री) म्हाळसापती
Surya Dev Mantra: सूर्याच्या 7 शक्तिशाली मंत्र जपल्याने सर्व इच्छा पूर्ण होतात, रविवारी कोणत्याही एका मंत्राचा जप करा
श्री सूर्याची आरती
सर्व पहा
नक्की वाचा
या तीन परिस्थितीत खोटे बोलणे पाप नाही, प्रेमानंद महाराज काय म्हणाले ते जाणून घ्या
अगस्ती लोप म्हणजे काय? या दरम्यान काय करतात?
माठ ठेवण्याची योग्य दिशा कोणती? व यादिवशी बदलावे पाणी...जाणून घ्या
दररोज मस्कारा लावणे डोळ्यांसाठी हानिकारक ठरू शकते
भारतात कोणत्या ठिकाणी ब्लॅक पँथर दिसतात?, जाणून घ्या रहस्यमय जंगलांबद्दल
पुढील लेख
Dev Uthani Ekadashi 2022 तुळसला अर्पित करा एकमेव वस्तू, भराभराटी येईल