जर असे नाही केले तर शवासोबत पाच पुतळे कणकेचे किंवा कुश (एक प्रकारचे गवत)ने बनवून अर्थीवर ठेवायला पाहिजे आणि या पाचींचे शवाप्रमाणे पूर्ण विधीने अंतिम संस्कार करायला पाहिजे, तेव्हा पंचक दोष समाप्त होतो. असे गरूड पुराणात लिहिले आहे.
------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------